Tuesday 26 March 2024

Dedo pankh udhar

  देदो पंख उधार

तितली रानी तितली रानी

देदो पंख उधार

उड़ते उ़ड़ते जाउंगी मैं 

परियों के दरबार।

 मधुमक्खी ने दिये हैं मुझको 

घड़े मधु के चार,

कमलकली के फूलों का

बनवाया मैंने हार।

गुब्बारे में भर फूलों ने 

दी सुगंध की झार,

परियों की रानी को दॅूगी

मैं सारे उपहार ।

सपने में परियॉं जब आती

 करती हमसे प्यार ,

मन करता है जाकर देखॅूं

उनका भी संसार ।

तितली रानी तितली रानी 

देदो पंख उधार ,

वापस कर दॅंूगी आकर 

जाने दो इक बार ।

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